भजन संहिता 137:1
बाबुल की नहरों के किनारे हम लोग बैठ गए, और सिय्योन को स्मरण करके रो पड़े!
By | עַ֥ל | ʿal | al |
the rivers | נַהֲר֨וֹת׀ | nahărôt | na-huh-ROTE |
of Babylon, | בָּבֶ֗ל | bābel | ba-VEL |
there | שָׁ֣ם | šām | shahm |
down, sat we | יָ֭שַׁבְנוּ | yāšabnû | YA-shahv-noo |
yea, | גַּם | gam | ɡahm |
we wept, | בָּכִ֑ינוּ | bākînû | ba-HEE-noo |
when we remembered | בְּ֝זָכְרֵ֗נוּ | bĕzokrēnû | BEH-zoke-RAY-noo |
אֶת | ʾet | et | |
Zion. | צִיּֽוֹן׃ | ṣiyyôn | tsee-yone |